
जलाओ दिए , पर रहे ध्यान इतना ,
अँधेरा धरा पर, कहीं रह न जाए ... !
सब अपनों को शुभ दीपावली की मंगल कामनाएं ...,
प्रतिमा की ओर से !!!
माटी में बीज सा ख़ुद को बोना, बरखा सा ख़ुद ही बरसना, फिर उगना ख़ुद ही जंगली फूल सा. कांटना-छांटना-तराशना-गढ़ना ख़ुद को आसान नहीं होता. सिद्धि प्राप्त करनी होती है ख़ुद तक पहुँचने के लिए. धार के विपरीत बहना पड़ता है थकान से भरी देह उठाये तय करना पड़ता है रास्ता बिलकुल अकेले. दूसरों पर जय पाने से पहले ख़ुद को जय करना (जीतना) होता है...तब बनता है कोई "स्वयंसिद्ध" !!
शायद आपको पता हो कि भारतीय समाज में पाया जाता है एक 'मध्यमवर्गीय तबका'। उच्च वर्ग की तरह कई पीढ़ियों के जीवनयापन की चिंताओं से मुक...
4 टिप्पणियां:
दीपावली आपके जीवन में नयी नयी खुशियाँ ले कर आये .........
bahoot bahoot mangal kaamnaayen .........
deep parva ki shubhakamnaye/
aapki orkut par bhi dee he/fir se ek baar sahi/
andhera dhara par rahna bhi jaroori he taaki ham deep prajjvalit karte hue usase ladate rahe/ kher..
aapki kamanaye saakaar ho.
बहुत सुन्दर दीदी । शुभकामनायें ।
इस अन्धेरे को दूर करने की कोशिश मे मै भी हूँ - शुभकामनायें ।
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